BIHAR NATION is a new media venture of journalist Jay Prakash Chandra .This dot-in will keep you updated about crime, politics , entertainment and religion news round the clock.
BIHAR NATION : बिहार में फर्जी शिक्षकों को लेकर तेजी से जांच की प्रक्रिया चल रही है। अब राज्य सरकार ने कड़े निर्णय लेते हुए उन सभी शिक्षकों के प्रमाण पत्र वेब पोर्टल पर अपलोड करने का निर्देश सभी जिलों को दिया है जो बिहार में वर्ष 2006 से 2015 तक नियोजित हुए है। शिक्षा विभाग ने कहा है कि जिन शिक्षकों के प्रमाणपत्रों की जांच अभी तक नहीं हो पाई है, उन्हें अपना प्रमाणपत्र स्वयं पोर्टल पर अपलोड करना होगा। ऐसा नहीं करने वाले शिक्षकों की सेवा समाप्त की जाएगी और वेतन की भी वसूली होगी।
विभाग ने जारी आदेश में कहा है कि प्रमाणपत्र अपलोड नहीं करने पर माना जाएगा कि शिक्षकों को नियुक्ति की वैधता के संबंध में कुछ नहीं कहना है।
ऐसे शिक्षकों की नियुक्ति अवैध मानकर कार्रवाई की जाएगी। इसके बाद जिला शिक्षा कार्यालय द्वारा ऐसे शिक्षकों की सूचना संबंधित नियोजन इकाई को दी जाएगी। नियोजन इकाइयों द्वारा शिक्षकों से स्पष्टीकरण पूछकर उनकी सेवा समाप्त करते हुए उनसे पूर्व में हुए वेतन भुगतान की राशि वसूल की जाएगी।
आपको बता दें कि राज्य सरकार ने वर्ष 2015 में निगरानी विभाग को शिक्षक नियोजन में चयनित शिक्षकों के फर्जी प्रमाणपत्रों की जांच की जिम्मेदारी सौंपी थी। इस तरह पांच साल से अधिक दिनों से यह जांच चल रही है। निगरानी विभाग को जांच के दौरान अबतक 11सौ से अधिक फर्जी प्रमाण पत्र मिले हैं। इस मामले में 419 प्राथमिकी भी दर्ज कराई जा चुकी है। गौरतलब हो कि पटना उच्च न्यायालय के आदेश पर निगरानी द्वारा शिक्षकों के प्रमाणपत्रों की जांच की जा रही है। विभाग के प्राथमिक शिक्षा निदेशक डॉ. रणजीत कुमार सिंह द्वारा जारी आदेश में कहा गया है कि ऐसे करीब एक लाख तीन हजार शिक्षकों की सूची पोर्टल पर जारी की जाएगी।